दिल्ली। दिल्ली सरकार के अफसर प्रेमोदय खाखा और उनकी पत्नी को किशोरी दुष्कर्म मामले में गिरफ्तार किया गया है। इसके पहले जब दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल को मामले की जानकारी हुई थी तो अधिकारी को सस्पेंड करने का आदेश दिया था।
जिसके बाद खाखा को निलंबित कर दिया गया था। खबरें सामने आईं थीं कि आरोपी दंपत्ति गिरफ्तारी से बचने के लिए परिवार के साथ भागने की कोशिश कर रहे थे। पुलिस ने उन्हें कार में जाते हुए देखा था। उस वक्त अधिकारी ने नीली शर्ट पहनी थी। इसका सीसीटीवी फुटेज भी सामने आया था।
इस मामला में पुलिस लागातार जांच कर रही है। ताजा जानकारी के अनुसार, निलंबित अधिकारी के बेटे पर पीड़िता ने यौन उत्पीड़न का आरोप नहीं लगाया है। दरअसल, कुछ दिनों पहले ऐसी खबरें सामने आई थीं कि पुलिस इस बात की जांच कर रही है कि क्या प्रेमोदय खाखा के बेटे ने भी किशोरी के साथ दुष्कर्म किया था। हालांकि दिल्ली पुलिस के एक अधिकारी ने इन खबरों को खारिज कर दिया।
पीड़िता ने अधिकारी के बेटे पर नहीं लगाया दुष्कर्म का आरोप
इस मामले में पुलिस ने कहा कि दिल्ली सरकार के निलंबित अधिकारी ने कथित तौर पर पीड़िता के साथ कई बार बलात्कार किया। जिसके बाद किशोरी गर्भवती हो गई। हालांकि पीड़िता ने अधिकारी के बेटे पर यौन उत्पीड़न का आरोप नहीं लगाया।
पुलिस ने मंगलवार को कहा कि 17 साल की लड़की जिसके साथ कथित तौर पर दिल्ली सरकार के एक निलंबित अधिकारी ने महीनों तक बलात्कार किया था। पीड़िता ने अधिकारी के बेटे सहित किसी और पर यौन उत्पीड़न का आरोप नहीं लगाया है।
गौरतलब है कि महिला एवं बाल विकास विभाग के उप निदेशक प्रेमोदय खाखा को नवंबर 2020 से जनवरी 2021 के बीच किशोरी से कई बार बलात्कार करने और उसे गर्भवती करने के आरोप में 21 अगस्त को गिरफ्तार किया गया था। उनकी पत्नी सीमा रानी पर लड़की को गर्भपात की गोलियां देने का आरोप लग हैय़ पुलिस ने उन्हें भी गिरफ्तार भी किया गया।
पुलिस उपायुक्त (उत्तर) सागर सिंह कलसी ने कहा कि पीड़िता ने मामले में मजिस्ट्रेट के सामने अपने लिखित बयान में प्रेमोदय खाखा के बेटे पर यौन उत्पीड़न का आरोप नहीं लगाया। उन्होंने कहा कि प्रेमोदय खाखा और सीमा रानी कथित तौर पर अपराध में शामिल थे और उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। फिलहाल मामले की जांच की जा रही है।
विशेष पुलिस आयुक्त (एसपी) दीपेंद्र पाठक ने उन रिपोर्टों को भी खारिज कर दिया कि पुलिस आरोपों की जांच कर रही है कि खाखा के बेटे ने पीड़िता के साथ बलात्कार किया था।
दरअसल, अक्टूबर 2020 में अपने पिता की मौत के बाद लड़की आरोपी के परिवार के साथ उसके घर पर रह रही थी। आरोपी पीड़िता के पिता का दोस्त था। पीड़िता की मां उसे भाई बोलती थी। इस कारण पीड़िता आरोपी को मामा बोलती थी।
कोर्ट ने पूछा कि क्या पीड़िता के साथ अन्य पुरुषों ने भी दुर्व्यवहार किया है?
एसपी ने आगे कहा कि यह सही नहीं है। अगर जांच के दौरान कोई आरोप या तत्व सामने आते हैं तो हम जांच की जाएगी। दरअसल, सोमवार को दिल्ली हाई कोर्ट ने मामले पर संज्ञान लिया और पुलिस को रेप पीड़िता की पहचान सुरक्षित रखने को कहा। इस दौरान कोर्ट ने पूछा कि क्या पीड़िता के साथ अन्य पुरुषों ने भी दुर्व्यवहार किया है?
मुख्य न्यायाधीश सतीश चंद्र शर्मा की अध्यक्षता वाली पीठ ने पुलिस से पूछा कि लड़की के इस बयान पर क्या कार्रवाई की गई कि उसके साथ अन्य लोगों ने यौन उत्पीड़न किया। पुलिस का प्रतिनिधित्व कर रहे वकील ने कहा कि उस पहलू की जांच की जाएगी। 23 अगस्त को दिल्ली की एक अदालत ने प्रेमोदय खाखा की न्यायिक हिरासत 14 दिनों के लिए बढ़ा दी थी। सीमा रानी को भी 14 दिन के लिए जेल भेज दिया गया है। फिलहाल मामले में आगे की कार्रवाई की जा रही है। साभार जनसत्ता।
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फाइल फोटो |
रिपोर्ट: अमित कुमार सिंह
जर्नलिस्ट
a.singhjnp@gmail.com
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