मेरठ। सुहेल गार्डन में एक बड़े कमरे के घर का नजारा देखकर क्रूरता भी कांप गई। शव उठाने वाले पुलिसकर्मियों की हिम्मत भी जवाब दे गई। यही कारण था कि शव उठाने वाली महिला पुलिसकर्मी उल्टियां करने लगी थीं।
मोईन का परिवार साजिद के एक कमरे के मकान में रह रहा था। कमरा काफी बड़ा था। इसी में रसोई थीं, यहीं पर पूरा परिवार एक साथ सोता था। गुरुवार को परिवार के लोग छत के रास्ते घर में घुसे। बेड खून से सना था, फर्श पर खून बह रहा था।
बेड का बॉक्स खोला गया, उसके अंदर आसमां, का शव बोरे में अंदर था। उसके हाथ पैर बांध रखे थे। सिर पर लोहे की रॉड से वार किया हुआ था। उसके पास बेड के अंदर ही दो साल की अदीबा का शव भी बोरे में था। उसके सिर पर ही लोहे की रॉड से ही वार किया था। अक्सा और जिया का शव बेड की दूसरी साइड में पड़े थे।
बेड के पास ही चादर की गठरी में मोईन का शव बंधा था। उसके सिर से लेकर शरीर पर लोहे की राड से वार किए गए थे। माना जा रहा है कि परिवार को बचाने के लिए मोईन ने काफी संघर्ष किया। उसके हाथ और पैर भी हत्यारोपितों ने बांध दिए थे। जाते समय मकान के मुख्य गेट पर ताला लगा दिया था। पुलिस के पहुंचने के बाद ही ताला तोड़कर अंदर प्रवेश किया गया। उसके बाद आसपास के लोगों की काफी भीड़ जमा हो गई।
दो माह पहले ही रुड़की से आया था परिवार
मोईन पिछले दो साल से रुड़की के पुआना में राजमिस्त्री का काम करता था। अचानक ही दो माह पहले रुड़की को छोड़कर सुहैल गार्डन में आ गया। यहां पर उसने साजिद का मकान किराए पर लिया। उस मकान से सौ मीटर की दूरी पर एक प्लाट खरीदा। इस प्लाट पर अपना मकान बना रहा था। बुधवार की शाम तक मकान पर लेंटर डाला था। उसके बाद परिवार के लोग घर आ गए। फिर परिवार का कोई सदस्य घर से नहीं निकला। अचानक ही परिवार रुड़की से क्यों आया? सभी इसे लेकर सकते में थे।
पांच भाइयों में सबसे मेहनत करता था मोईन
मूल रूप से शाहजहांपुर किठौर का रहने वाला मोईन पांच भाईयों में सबसे मेहनत करने वाला था। शाहजहांपुर से मोईन का परिवार जाकिर कालोनी में आकर रहने लगा था। यहां पर ही उसका निकाह लालकुर्ती की रहने वाली आसमां से हुआ था। आसमां के पिता मास्टर रईस फिलहाल हापुड़ में रहते है। मोईन का छोटा भाई अजीज रोशनाबाद जेल में बंद है। तीन अन्य भाई सुहैल गार्डन में रहते है। घटना के बाद आसमां का भाई शफीक अहमद भी मौके पर पहुंच गया। साभार जेएनएन।
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फाइल फोटो |
रिपोर्ट:अमित कुमार सिंह
एडिटर इन चीफ(परमार टाईम्स)
parmartimes@gmail.com
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